1. भारत का संविधान मंत्रियों को चार श्रेणियों, अर्थात कैबिनेट मंत्री स्वतंत्र प्रभार वाले राज्यमंत्री, राज्यमंत्री और उपमंत्री, में वर्गीकृत करता है।
2. संघ सरकार में मंत्रियों की कुल संख्या, प्रधानमंत्री को मिला कर, लोक सभा के कुल सदस्यों के 15% से अधिक नहीं होनी चाहिए।
उपर्युक्त कथनों में कौन-सा/से सही है/हैं?
Correct Answer: (b) केवल 2
Solution:भारत के संविधान के अनुच्छेद 74 के अंतर्गत राष्ट्रपति को सहायता और सलाह देने के लिए मंत्रिपरिषद का प्रावधान किया गया है। अतः मंत्रिपरिषद एक संवैधानिक निकाय है। उल्लेखनीय है कि भारत के संविधान में मंत्रियों के वर्गीकरण का उल्लेख नहीं है। भारत में मंत्रियों का वर्गीकरण ब्रिटिश संसदीय परंपरा पर आधारित है। वर्तमान में भारत में संघीय मंत्रिपरिषद में प्रधानमंत्री के अतिरिक्त मंत्रियों की तीन श्रेणियां हैं: कैबिनेट मंत्री, स्वतंत्र प्रभार वाले राज्यमंत्री तथा राज्यमंत्री (हालांकि राष्ट्रपति सचिवालय द्वारा अधिसूचित 'वरीयता अनुक्रम' तथा 'मंत्रियों का वेतन और भत्ता अधिनियम, 1952' में उपमंत्री-Deputy Minister पद का भी उल्लेख है)। अतः कथन 1 असत्य है। 91वें संविधान संशोधन अधिनियम, 2003 के जरिए अनुच्छेद 75 के खंड (1) के पश्चात अंतःस्थापित नए खंड (1क) के तहत यह प्रावधान किया गया है कि मंत्रिपरिषद में प्रधानमंत्री सहित मंत्रियों की कुल संख्या लोक सभा के सदस्यों की कुल संख्या के 15 प्रतिशत से अधिक नहीं होगी। अतः कथन 2 सत्य है।