खिलाफत आंदोलन (UPPCS)

Total Questions: 17

11. निम्नलिखित में से खिलाफत आंदोलन का परिणाम कौन था? [U.P. P.C.S. (Pre) 1996]

Correct Answer: (a) हिंदू-मुस्लिम मतभेदों में कमी आई
Solution:गांधी जी ने खिलाफत आंदोलन को हिंदू-मुस्लिम एकता का एक सुनहरा अवसर माना। अतः इस आंदोलन का परिणाम हिंदू-मुस्लिम एकता के रूप में सामने आया। तुर्की के प्रश्न पर, ब्रिटेन के प्रति आक्रोश ने मुसलमानों को हिंदुओं के समीप ला दिया था।

12. वह व्यक्ति जिसने 4 अप्रैल, 1919 को दिल्ली की जामा मस्जिद के प्रवचन मंच से हिंदू-मुस्लिम एकता पर भाषण दिया, वे थे- [U.P. Lower Sub. (Pre)2004]

Correct Answer: (d) स्वामी श्रद्धानंद
Solution:4 अप्रैल, 1919 को दिल्ली की जामा मस्जिद के प्रवचन मंच से स्वामी श्रद्धानंद ने हिंदू-मुस्लिम एकता पर लगभग 30,000 मुस्लिमों के समक्ष भाषण दिया था।

13. कांग्रेस ने खिलाफत आंदोलन का समर्थन किया, मुख्यतः- [U.P. P.C.S. (Pre) 2000]

1. खलीफा की पुनःस्थापना के लिए

2. खलीफा को हटाने के लिए

3. मुसलमानों की सहानुभूति प्राप्त करने के लिए

4. कांग्रेस में जिन्ना को हाशिए पर लाने के लिए

नीचे दिए गए कूट से सही उत्तर चुनिए-

कूट :

Correct Answer: (a) 1 और 3
Solution:कांग्रेस ने खिलाफत आंदोलन का समर्थन खलीफा की पुनःस्थापना के लिए तथा मुसलमानों की सहानुभूति पाने के लिए किया था। गांधीजी के अनुसार, यह हिंदू-मुस्लिम एकता के लिए स्वर्णिम अवसर था। उन्होंने लिखा कि "जब मुसलमानों के महत्वपूर्ण हित खतरे में हों, तब यदि हिंदू उनसे दूर रहे तो हिंदू-मुस्लिम एकता के बारे में कांग्रेस का कोई अर्थ नहीं रहेगा।"

14. निम्नांकित में से किस भारतीय नेता ने खिलाफत आंदोलन का समर्थन नहीं किया था? [U.P. Lower Sub. (Spl) (Pre) 2008, U.P. P.S.C. (GIC) 2010]

Correct Answer: (b) मदन मोहन मालवीय
Solution:सितंबर, 1920 में कलकत्ता में हुए कांग्रेस के विशेष अधिवेशन का प्रमुख मुद्दा जलियांवाला बाग कांड और खिलाफत आंदोलन था। खिलाफत आंदोलन में मदन मोहन मालवीय सम्मिलित नहीं हुए थे तथा उन्होंने इस आंदोलन में कांग्रेस की भागीदारी का विरोध किया था।

15. वर्ष 1920 की खिलाफत कमेटी की सभा, जिसने गांधी को असहयोग आंदोलन के नेतृत्व को संभालने का अनुरोध किया था वह किस शहर में हुई थी? [39th B.P.S.C. (Pre) 1994]

Correct Answer: (c) इलाहाबाद
Solution:गांधी जी ने वर्ष 1920 में खिलाफत कमेटी को अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ असहयोग आंदोलन छेड़ने की सलाह दी। जून, 1920 में खिलाफत कमेटी ने इलाहाबाद में इस सलाह को स्वीकार किया और गांधीजी को आंदोलन की अगुआई करने का अधिकार सौंपा। सितंबर, 1920 में कलकत्ता के विशेष अधिवेशन में लाला लाजपत राय की अध्यक्षता में असहयोग आंदोलन के प्रस्ताव को स्वीकार कर लिया गया।

16. "इस मिसाल में हम मुसलमानों को हिंदुओं से भिड़ा नहीं पाए।" निम्नलिखित में से कौन-सी एक घटना से एचिंसन के इस कथन का संबंध है? [I.A.S. (Pre) 2000]

Correct Answer: (c) खिलाफत और असहयोग आंदोलन (1919-22)
Solution:एचिंसन की उक्त टिप्पणी खिलाफत और असहयोग आंदोलन (1919- 22) के संदर्भ में थी। ध्यातव्य है कि तुर्की के प्रश्न पर ब्रिटेन के प्रति आक्रोश ने, मुसलमानों को हिंदुओं के समीप ला दिया था। मुहम्मद अली ने घोषणा की थी कि वह मुसलमान पहले हैं और भारतीय बाद में।

17. 1921 का मोपला आंदोलन शाखा थी- [43rd B.P.S.C. (Pre) 1999]

Correct Answer: (a) खिलाफत आंदोलन की
Solution:केरल प्रांत के मालाबार जिले के मोपला काश्तकारों के आंदोलन मुख्यतः लगान एवं बेदखली को लेकर थे। जमींदार जब चाहते उन्हें भूमि से बेदखल कर देते और जब चाहते मनमाना लगान वसूलते। दूसरी ओर, वहां खिलाफत आंदोलन भी अपनी जड़ें जमाता जा रहा था। हालात ये हो गए कि खिलाफत आंदोलन एवं काश्तकारों की बैठक में फर्क करना मुश्किल हो गया। इस तरह दोनों आंदोलन एक-दूसरे में समा गए।