अन्य जन आंदोलन (UPPCS) (भाग – 2)

Total Questions: 35

31. निम्नलिखित में से कौन-सा सुमेलित नहीं है? [U.P. B.E.O. (Pre) 2019]

(विद्रोह)(वर्ष)
(a) नील विद्रोह1859-60
(b) जयंतिया विद्रोह1860-63
(c) कूकी विद्रोह1860-90
(d) कूका विद्रोह1832-34
Correct Answer: (e) (c & d)
Solution:कूका आंदोलन की शुरुआत 1840 के दशक भगत जवाहर मल द्वारा की गई। इसका उद्देश्य सिख धर्म में प्रचलित बुराइयों और अंधविश्वासों को दूर करके धर्म को शुद्ध करना था, जबकि कूकी विद्रोह की शुरुआत वर्ष 1917 में हुई। यह विद्रोह अंग्रेजों के खिलाफ श्रमिक वाहिनी योजना के तहत श्रमिक भर्ती अभियान के विरुद्ध था। यह आंदोलन मई, 1919 तक चला।

32. भूमिज विद्रोह का नेता कौन था? [Jharkhand P.C.S. (Pre) 2021]

Correct Answer: (d) गंगा नारायण
Solution:भूमिज विद्रोह पूर्वी भारत के जंगल महल क्षेत्र में 1832-33 ई. में गंगा नारायण के नेतृत्व में हुआ। पश्चिम बंगाल के पुरलिया जिले के बारभूम में जमीदारी के मुद्दे से शुरु हुआ यह विद्रोह जल्द ही ब्रिटिश शासन के खिलाफ एक सशस्त्र संघर्ष में बदल गया।

33. 'तेभागा आंदोलन' 1946 ई. में बंगाल में आरंभ हुआ- [66th B.P.S.C. (Pre) (Re-Exam) 2020]

Correct Answer: (b) किसान सभा के नेतृत्व में
Solution:तेभागा आंदोलन (1946-47 ई.) बंगाल का प्रसिद्ध किसान आंदोलन था, जिसके तहत किसानों ने 'फ्लाउड कमीशन' की सिफारिश के अनुरूप लगान की दर को 1/3 करने हेतु संघर्ष प्रारंभ किया था। बंगीय प्रादेशिक किसान सभा (बीपीकेएस) के नेतृत्व में लड़ा गया यह आंदोलन जोतदारों के विरुद्ध बंटाईदारों का आंदोलन था। इस आंदोलन के महत्वपूर्ण कृषक नेता 'कम्पाराम सिंह' एवं 'भुवन सिंह' थे

34. महात्मा गांधी एवं उनके विचारों से प्रभावित होने वाले प्रथम आदिवासी नेता थे- [Jharkhand P.C.S. (Pre) 2013]

Correct Answer: (b) जोड़ानांग
Solution:महात्मा गांधी और उनकी विचारधारा से प्रभावित होने वाले पहले जनजातीय नेता जदोनांग (जोड़ानांग) थे। वे मणिपुर के नागा जनजाति के अग्रणी स्वतंत्रता सेनानी थे। उन्होंने रानी गौडिनलियु सहित अपने विश्वासपात्र अनुयायियों की सहायता से सामाजिक तथा धार्मिक सुधार  कार्य प्रारंभ किया एवं महात्मा गांधी की प्रेरणा से स्वतंत्रता आंदोलन में शामिल हो गए।

35. इनमें से वह प्रथम नेता कौन था, जिसने भारत में मजदूर आंदोलन को संगठित किया? [M.P. P.C.S. (Pre) 2017]

Correct Answer: (c) एन.एम. लोखंडे
Solution:नारायण मेघाजी लोखंडे (1848-1897 ई.) भारत में श्रम आंदोलन के अग्रदूत माने जाते हैं। उन्होंने न केवल 19वीं शताब्दी में कपड़ा मिल में काम करने वाले कामगारों की परिस्थितियों में सुधार के लिए प्रयास किया, अपितु जाति और सांप्रदायिक मुद्दों पर साहसी पहल के लिए भी उन्हें याद किया जाता है। भारत सरकार ने वर्ष 2005 में उनकी तस्वीर के साथ एक डाक टिकट जारी किया था।