अपठित गद्यांश (अवतरण)/पद्यांश (Part-4)

Total Questions: 51

1. किस दृष्टि से छः देश भारत से बड़े हैं? [High Court (Group D) Exam, 2015]

निर्देश :- निम्नलिखित अनुच्छेद को ध्यान से पढ़िए और फिर प्रश्न सं. 1 से 5 तक के उत्तर उसके आधार पर दीजिए-

क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं। चीन की आबादी सबसे अधिक है। इसके बाद सबसे बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत है। अधिक जनसंख्या के कारण भारत को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। 'बेरोजगारी' यहाँ की मुख्य समस्या है। भारत को गाँवों का देश भी कहते हैं, क्योंकि यहाँ के तीन-चौथाई भारतीय गाँवों में रहते हैं और खेती करते हैं। यह सिर्फ ने किसान ही नहीं, हमारे अन्नदाता भी हैं, हमें इनका सम्मान करना चाहिए। भारत में सभी धर्मों के लोग भाई-भाई की तरह रहते हैं। यहाँ दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, मुम्बई आदि अनेक बड़े नगर हैं। क गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

 

 

Correct Answer: (d) क्षेत्रफल की दृष्टि से
Solution:अनुच्छेद की प्रथम पंक्ति से ही स्पष्ट है, कि क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं।

2. संसार का सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश कौन-सा है? [High Court (Group D) Exam, 2015]

निर्देश :- निम्नलिखित अनुच्छेद को ध्यान से पढ़िए और फिर प्रश्न सं. 1 से 5 तक के उत्तर उसके आधार पर दीजिए-

क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं। चीन की आबादी सबसे अधिक है। इसके बाद सबसे बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत है। अधिक जनसंख्या के कारण भारत को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। 'बेरोजगारी' यहाँ की मुख्य समस्या है। भारत को गाँवों का देश भी कहते हैं, क्योंकि यहाँ के तीन-चौथाई भारतीय गाँवों में रहते हैं और खेती करते हैं। यह सिर्फ ने किसान ही नहीं, हमारे अन्नदाता भी हैं, हमें इनका सम्मान करना चाहिए। भारत में सभी धर्मों के लोग भाई-भाई की तरह रहते हैं। यहाँ दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, मुम्बई आदि अनेक बड़े नगर हैं। क गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

Correct Answer: (c) चीन
Solution:अनुच्छेद की प्रथम एवं द्वितीय पंक्ति से स्पष्ट है कि संसार का सबसे अधिक जनसंख्या वाला देश 'चीन' है।

3. भारत की कितनी जनसंख्या गाँवों में रहती है? [High Court (Group D) Exam, 2015]

निर्देश :- निम्नलिखित अनुच्छेद को ध्यान से पढ़िए और फिर प्रश्न सं. 1 से 5 तक के उत्तर उसके आधार पर दीजिए-

क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं। चीन की आबादी सबसे अधिक है। इसके बाद सबसे बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत है। अधिक जनसंख्या के कारण भारत को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। 'बेरोजगारी' यहाँ की मुख्य समस्या है। भारत को गाँवों का देश भी कहते हैं, क्योंकि यहाँ के तीन-चौथाई भारतीय गाँवों में रहते हैं और खेती करते हैं। यह सिर्फ ने किसान ही नहीं, हमारे अन्नदाता भी हैं, हमें इनका सम्मान करना चाहिए। भारत में सभी धर्मों के लोग भाई-भाई की तरह रहते हैं। यहाँ दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, मुम्बई आदि अनेक बड़े नगर हैं। क गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

Correct Answer: (d) तीन-चौथाई
Solution:अनुच्छेद की पाँचवीं पंक्ति से स्पष्ट है, कि भारत की तीन-चौथाई जनसंख्या गाँवों में निवास करती है।

4. खेती करने वालों को क्या कहते हैं? [High Court (Group D) Exam, 2015]

निर्देश :- निम्नलिखित अनुच्छेद को ध्यान से पढ़िए और फिर प्रश्न सं. 1 से 5 तक के उत्तर उसके आधार पर दीजिए-

क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं। चीन की आबादी सबसे अधिक है। इसके बाद सबसे बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत है। अधिक जनसंख्या के कारण भारत को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। 'बेरोजगारी' यहाँ की मुख्य समस्या है। भारत को गाँवों का देश भी कहते हैं, क्योंकि यहाँ के तीन-चौथाई भारतीय गाँवों में रहते हैं और खेती करते हैं। यह सिर्फ ने किसान ही नहीं, हमारे अन्नदाता भी हैं, हमें इनका सम्मान करना चाहिए। भारत में सभी धर्मों के लोग भाई-भाई की तरह रहते हैं। यहाँ दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, मुम्बई आदि अनेक बड़े नगर हैं। क गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

Correct Answer: (b) किसान
Solution:अनुच्छेद की छठीं पंक्ति से स्पष्ट है कि खेती करने वाले किसान कहलाते हैं।

5. गाँधी जी के अनुसार भारत कहाँ निवास करता है? [High Court (Group D) Exam, 2015]

निर्देश :- निम्नलिखित अनुच्छेद को ध्यान से पढ़िए और फिर प्रश्न सं. 1 से 5 तक के उत्तर उसके आधार पर दीजिए-

क्षेत्रफल की दृष्टि से केवल छः देश भारत से बड़े हैं। चीन की आबादी सबसे अधिक है। इसके बाद सबसे बड़ी जनसंख्या वाला देश भारत है। अधिक जनसंख्या के कारण भारत को आर्थिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है। 'बेरोजगारी' यहाँ की मुख्य समस्या है। भारत को गाँवों का देश भी कहते हैं, क्योंकि यहाँ के तीन-चौथाई भारतीय गाँवों में रहते हैं और खेती करते हैं। यह सिर्फ ने किसान ही नहीं, हमारे अन्नदाता भी हैं, हमें इनका सम्मान करना चाहिए। भारत में सभी धर्मों के लोग भाई-भाई की तरह रहते हैं। यहाँ दिल्ली, चेन्नई, कोलकाता, मुम्बई आदि अनेक बड़े नगर हैं। क गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

Correct Answer: (c) गाँवों में
Solution:अनुच्छेद की अन्तिम पंक्ति में स्पष्ट उल्लेख है कि गाँधी जी कहते थे, कि 'भारत गाँवों में निवास करता है।'

6. लेखक ने आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित किसे कहा है? [UPSSSC Forest guard - 2021]

निर्देश :- अनुच्छेद को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों (1 से 4) के उत्तर दीजिए:

भारतीय मनीषी हमेशा ही इच्छा और अनिच्छा के बारे में सोचता रहा है। आज जो कुछ हम हैं, उसे एक लालसा में सिमटाया जा सकता है। यानी जो कुछ भी हम हैं, वह सब अपनी इच्छा के कारण से हैं। यदि हम दुःखी हैं, यदि हम दासता में है, यदि हम अज्ञानी हैं, यदि हम अन्धकार में डूबे हैं, यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो केवल इच्छा के कारण से ही है।

क्यों है यह दुःख ? क्योंकि हमारी इच्छा पूरी नहीं हुई। इसलिए यदि आपको कोई इच्छा नहीं है, तो आप निराश कैसे होंगे? यदि कहीं आप निराश होना चाहते हैं, तो और अधिक इच्छा करें, यदि आप और दुःखी होना चाहते हैं, तो अधिक अपेक्षा करें, अधिक लालसा करें और अधिक आकांक्षा करें, इससे आप और अधिक दुःखी हो ही जाएँगे। यदि आप सुखी होना चाहते हैं, तो कोई इच्छा न करें। यही आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित है। इच्छा ही दुःख को उत्पन्न करती है।

 

Correct Answer: (b) इच्छा न करने को
Solution:लेखक ने बताया है कि जो कुछ हम हैं, वह सब अपनी इच्छा के कारण हैं। यदि हम दुःखी हैं, यदि हम दासता में हैं यदि हम अज्ञानी हैं, यदि हम अन्धकार में डूबे हैं और यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो केवल इच्छा के कारण ही है। इसलिए लेखक ने इच्छा न करने को ही आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित कहा है।

7. भारतीय मनीषी के चिन्तन का विषय क्या है? [UPSSSC Forest guard - 2021]

निर्देश :- अनुच्छेद को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों (1 से 4) के उत्तर दीजिए:

भारतीय मनीषी हमेशा ही इच्छा और अनिच्छा के बारे में सोचता रहा है। आज जो कुछ हम हैं, उसे एक लालसा में सिमटाया जा सकता है। यानी जो कुछ भी हम हैं, वह सब अपनी इच्छा के कारण से हैं। यदि हम दुःखी हैं, यदि हम दासता में है, यदि हम अज्ञानी हैं, यदि हम अन्धकार में डूबे हैं, यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो केवल इच्छा के कारण से ही है।

क्यों है यह दुःख ? क्योंकि हमारी इच्छा पूरी नहीं हुई। इसलिए यदि आपको कोई इच्छा नहीं है, तो आप निराश कैसे होंगे? यदि कहीं आप निराश होना चाहते हैं, तो और अधिक इच्छा करें, यदि आप और दुःखी होना चाहते हैं, तो अधिक अपेक्षा करें, अधिक लालसा करें और अधिक आकांक्षा करें, इससे आप और अधिक दुःखी हो ही जाएँगे। यदि आप सुखी होना चाहते हैं, तो कोई इच्छा न करें। यही आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित है। इच्छा ही दुःख को उत्पन्न करती है।

 

Correct Answer: (c) इच्छा और अनिच्छा का चिन्तन
Solution:भारतीय मनीषी हमेशा ही इच्छा और अनिच्छा के चिन्तन में लगे रहे।

8. इच्छा का जीवन में क्या प्रभाव पड़ता है? [UPSSSC Forest guard - 2021]

निर्देश :- अनुच्छेद को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों (1 से 4) के उत्तर दीजिए:

भारतीय मनीषी हमेशा ही इच्छा और अनिच्छा के बारे में सोचता रहा है। आज जो कुछ हम हैं, उसे एक लालसा में सिमटाया जा सकता है। यानी जो कुछ भी हम हैं, वह सब अपनी इच्छा के कारण से हैं। यदि हम दुःखी हैं, यदि हम दासता में है, यदि हम अज्ञानी हैं, यदि हम अन्धकार में डूबे हैं, यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो केवल इच्छा के कारण से ही है।

क्यों है यह दुःख ? क्योंकि हमारी इच्छा पूरी नहीं हुई। इसलिए यदि आपको कोई इच्छा नहीं है, तो आप निराश कैसे होंगे? यदि कहीं आप निराश होना चाहते हैं, तो और अधिक इच्छा करें, यदि आप और दुःखी होना चाहते हैं, तो अधिक अपेक्षा करें, अधिक लालसा करें और अधिक आकांक्षा करें, इससे आप और अधिक दुःखी हो ही जाएँगे। यदि आप सुखी होना चाहते हैं, तो कोई इच्छा न करें। यही आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित है। इच्छा ही दुःख को उत्पन्न करती है।

 

Correct Answer: (c) लालसा बढ़ाती है।
Solution:इच्छा जीवन में लालसा बढ़ाती है। अधिक लालसा और आकाँक्षा दुःख का कारण बन जाती है।

9. मानव के लिए जीवन एक लम्बी मृत्यु कब बन जाता है? [UPSSSC Forest guard - 2021]

निर्देश :- अनुच्छेद को पढ़कर पूछे गए प्रश्नों (1 से 4) के उत्तर दीजिए:

भारतीय मनीषी हमेशा ही इच्छा और अनिच्छा के बारे में सोचता रहा है। आज जो कुछ हम हैं, उसे एक लालसा में सिमटाया जा सकता है। यानी जो कुछ भी हम हैं, वह सब अपनी इच्छा के कारण से हैं। यदि हम दुःखी हैं, यदि हम दासता में है, यदि हम अज्ञानी हैं, यदि हम अन्धकार में डूबे हैं, यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो केवल इच्छा के कारण से ही है।

क्यों है यह दुःख ? क्योंकि हमारी इच्छा पूरी नहीं हुई। इसलिए यदि आपको कोई इच्छा नहीं है, तो आप निराश कैसे होंगे? यदि कहीं आप निराश होना चाहते हैं, तो और अधिक इच्छा करें, यदि आप और दुःखी होना चाहते हैं, तो अधिक अपेक्षा करें, अधिक लालसा करें और अधिक आकांक्षा करें, इससे आप और अधिक दुःखी हो ही जाएँगे। यदि आप सुखी होना चाहते हैं, तो कोई इच्छा न करें। यही आन्तरिक जगत् में काम करने का गणित है। इच्छा ही दुःख को उत्पन्न करती है।

 

Correct Answer: (d) इच्छाओं के बढ़ने से
Solution:यदि जीवन एक लम्बी मृत्यु है, तो यह केवल इच्छा का ही परिणाम है। यदि आप सुखी रहना चाहते हैं, तो कोई इच्छा न करें।

10. इस अवतरण का एक उचित शीर्षक दीजिए। [High Court (Group C) Exam, 2017]

निर्देशः अवतरण को पढ़कर प्रश्नों (1-5) के उत्तर विकल्पों से चुनकर दीजिए-

आज समाज में अपराध और बुराइयाँ दिखाई देती हैं। नैतिक मूल्यों का पतन हो रहा है। हर व्यक्ति स्वार्थ से घिरा है। उसका मूल कारण प्रेम का न होना है। हिंसा, द्वेष, वैमनस्य, शत्रुता आदि विकारों का उ‌द्भव भी प्रेम के अभाव में होता है। 'प्रेम' सुखी जीवन का आधार है। प्रेम के अनेक रूप होते हैं मातृ-प्रेम, पारिवारिक प्रेम, ईश्वर-प्रेम, देश-प्रेम आदि। प्रेम का रूप चाहे कोई भी हो, वह प्रगाढ़ और मधुर सम्बन्धों को बनाने वाला है। प्रेम के कारण ही समाज या राष्ट्र प्रगति करते हैं और अनेक समस्याएँ स्वतः सुलझ जाती हैं। दो समुदाय, समाज या राष्ट्र प्रेम के कारण ही एक-दूसरे से जुड़ते हैं।

किसी समस्या का हल भी प्रेम से ही निकल सकता है, क्रोध या झगड़े से नहीं। समाज में फैली साम्प्रदायिकता, भेदभाव, द्वेष, शत्रुता, आतंकवाद आदि को यदि मिटाना है, तो पहले लोगों में एक-दूसरे के प्रति प्रेम का भाव उत्पन्न करना होगा। समाज और राष्ट्र भी तभी प्रगति कर सकते हैं और अपना अस्तित्व बनाए रख सकते हैं। जब आपसी सम्बन्ध सुदृढ़ हों और एक-दूसरे के प्रति त्याग की भावना हो और यह सब एक चीज से सम्भव है और वह है- 'प्रेम'।

Correct Answer: (a) प्रेम
Solution:इस अवतरण का उचित शीर्षक 'प्रेम' होगा, क्योंकि इस अवतरण का केन्द्रीय भाव प्रेम है।