क्योटो प्रोटोकॉल तथा अन्य प्रोटोकॉल व संधियां

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11. 'क्योटो प्रोटोकॉल' निम्न से संबंधित है- [M.P.P.C.S. (Pre) 2014]

Correct Answer: (c) जलवायु परिवर्तन
Solution:क्योटो प्रोटोकॉल जलवायु परिवर्तन से संबंधित एक अंतरराष्ट्रीय समझौता है, जो UNFCCC (United Nations Framework Convention on Climate Change) से संबद्ध है। यह ग्रीन हाउस गैसों के निकास को कम करने से संबंधित है न कि केवल ग्रीन हाउस गैसों से। अतः विकल्प (c) सही उत्तर होगा।

12. क्योटो प्रोटोकॉल संबंधित है- [U.P.P.C.S. (Mains), 2017]

Correct Answer: (b) जलवायु परिवर्तन से
Solution:क्योटो प्रोटोकॉल जलवायु परिवर्तन से संबंधित एक अंतरराष्ट्रीय समझौता है, जो UNFCCC (United Nations Framework Convention on Climate Change) से संबद्ध है। यह ग्रीन हाउस गैसों के निकास को कम करने से संबंधित है न कि केवल ग्रीन हाउस गैसों से। अतः विकल्प (c) सही उत्तर होगा।

13. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए - [R.A.S./R.T.S. (Pre) 2013]

(i) क्योटो प्रोटोकॉल सन 2005 से प्रभावी हुआ।

(ii) क्योटो प्रोटोकॉल मुख्य रूप से ग्रीन हाउस गैसों के निकास को कम करने से संबंधित है।

(iii) मीथेन की तुलना में कार्बन डाइऑक्साइड ग्रीन हाउस गैस के रूप में पांच गुना अधिक प्रभावी होती है।

उपर्युक्त में से कौन-सा/से कथन सत्य है/हैं?

Correct Answer: (a) (i) व (ii)
Solution:जापान के क्योटो शहर में 11 दिसंबर, 1997 को हुए UNFCCC के तीसरे सम्मेलन में क्योटो प्रोटोकॉल को स्वीकार किया गया। क्योटो प्रोटोकॉल 16 फरवरी, 2005 से प्रभावी हो गया। यह ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन को वर्ष 1990 के स्तर पर लाने के लिए एक बाध्यकारी समझौते के तहत लाया गया।

14. CO, उत्सर्जन एवं भूमंडलीय तापन के संदर्भ में, UNFCCC के अंतर्गत उस बाजार संचालित युक्ति का क्या नाम है, जो विकासशील देशों को विकसित देशों से निधियां/प्रोत्साहन उपलब्ध कराती हैं, ताकि वे अच्छी प्रौद्योगिकियां अपना कर ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन कम कर सकें ? [I.A.S. (Pre) 2009]

Correct Answer: (c) स्वच्छ विकास युक्ति
Solution:CO, उत्सर्जन एवं भूमंडलीय तापन के नियंत्रण के लिए 'कार्बन ट्रेडिंग' के प्रोत्साहन की बात अंतरराष्ट्रीय स्तर पर की जा रही है। UNFCCC (United Nations Framework Convention on Climate Change) के अंतर्गत 'स्वच्छ विकास युक्ति' (CDM-Clean Development Mechanism) का संचालन विकासशील देशों को विकसित देशों से निधियां/प्रोत्साहन उपलब्ध कराने हेतु किया जाता है, ताकि वे अच्छी प्रौद्योगिकी अपना कर ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन कम कर सकें।

15. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए- [I.A.S. (Pre) 2008]

1. कार्बन जमाओं (कार्बन क्रेडिट्स) के बारे में स्वच्छ विकास युक्ति (CDM) क्योटो नवाचार युक्तियों में से एक है।

2. CDM के अंतर्गत कार्यान्वित होने वाली परियोजनाएं केवल संलग्नक-1 देशों से संबंधित हैं।

उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं?

Correct Answer: (a) केवल 1
Solution:स्वच्छ विकास युक्ति (CDM-Clean Development Mechanism) UNFCCC के क्योटो प्रोटोकॉल की धारा 12 के अंतर्गत वर्णित है। इसके तहत एनेक्स-I के विकसित देश गैर-एनेक्स-1 देशों में स्वच्छ विकास युक्ति परियोजनाएं कार्यान्वित कर 'कार्बन क्रेडिट' प्राप्त कर सकते हैं तथा परियोजनाएं एनेक्स-I के देशों द्वारा कार्यान्वित की जाती हैं, परंतु इन परियोजनाओं को गैर-एनेक्स-1 विकासशील देशों में क्रियान्वित किया जाता है। इस प्रकार इन परियोजनाओं का संबंध दोनों ही प्रकार के देशों से है।

16. निम्नलिखित कथनों पर विचार कीजिए- [I.A.S. (Pre) 2005]

1. क्योटो उपसंधि वर्ष 2005 में लागू हुई।

2. क्योटो उपसंधि मुख्यतः ओजोन परत की क्षीणता से संबद्ध है।

3. मीथेन, कार्बन डाइऑक्साइड की तुलना में ग्रीन हाउस गैस के रूप में अधिक हानिकारक है।

उपर्युक्त कथनों में से कौन-सा/से सही है/हैं?

Correct Answer: (b) 1 और 3
Solution:क्योटो उपसंधि रूस के हस्ताक्षर के बाद 16 फरवरी, 2005 को लागू हुई। क्योटो संधि वैश्विक तापन से संबंधित है। कार्बन डाइऑक्साइड गैस की पृथ्वी के वायुमंडल में उपस्थिति मीथेन गैस से अधिक है। किसी गैस का वैश्विक तापन विभव (GWP: Global Warming Potential) उस गैस के अणुओं की दक्षता एवं उस गैस के वायुमंडलीय जीवन-काल पर निर्भर करता है। कार्बन डाइऑक्साइड का वायुमंडलीय जीवन-काल परिवर्तनीय है, जबकि सभी समयावधियों के दौरान इसका वैश्विक तापन विभव 1 पाया गया है। मीथेन का 20 वर्ष के दौरान वैश्विक तापन विभव 56 पाया गया। अतः कार्बन डाइऑक्साइड की तुलना में मीथेन ग्रीन हाउस गैस के रूप में ज्यादा प्रभावी एवं हानिकारक है।

17. निम्नलिखित में से कौन-सा सही सुमेलित नहीं है? [U.P.P.C.S. (Pre) 2019]

Correct Answer: (d) क्योटो प्रोटोकॉल -जल संरक्षण
Solution:क्योटो प्रोटोकॉल एक अंतरराष्ट्रीय समझौता है, जो जलवायु परिवर्तन पर संयुक्त राष्ट्र संरचना अभिसमय से अंतर्संबंधित है। इस प्रोटोकॉल को 11 दिसंबर, 1997 को क्योटो, जापान में अंगीकृत किया गया था तथा यह 16 फरवरी, 2005 को लागू हुआ। यह प्रोटोकॉल वैश्विक तापन में योगदान देने वाली गैसों के उत्सर्जन में कमी लाने हेतु लक्षित है।

18. वर्ष 1997 में विश्व पर्यावरण सम्मेलन आयोजित किया गया था- [Uttarakhand P.C.S. (Pre) 2016]

Correct Answer: (c) क्योटो में
Solution:वर्ष 1997 में विश्व पर्यावरण सम्मेलन जापान के क्योटो शहर में आयोजित किया गया था। इसी सम्मेलन के दौरान क्योटो प्रोटोकॉल को अपनाया गया, जो कि 16 फरवरी, 2005 से प्रभावी हुआ था।

19. निम्नांकित कथनों में से कौन सी.डी.एम. के लिए सत्य नहीं है? [U.P.U.D.A./L.D.A. (Pre) 2001]

Correct Answer: (d) यह विकसित देशों को विकासशील देशों की परियोजनाओं में पूंजी लगाने का निषेध करता है।
Solution:सी.डी.एम. (C.D.M.- Clean Development Mechanism) ग्लोबल वार्मिंग में कमी के लिए हरित गृह गैस उत्सर्जन को नियंत्रित करने की प्रणाली है, जो क्योटो प्रोटोकॉल के तहत सामने आई थी। इसके अंतर्गत वनीकरण, कार्बन सिंक, अन्य देशों में कार्बन न्यूनीकरण की परियोजनाएं आदि आती हैं। यह वैश्विक तापन को कम करने में सहायक है। इस प्रणाली के तहत विकसित देश विकासशील देशों में कार्बन उत्सर्जन कम करने वाली परियोजनाओं में पूंजी लगाकर कार्बन क्रेडिट प्राप्त कर सकते हैं।

20. 'ग्रीन हाउस गैस प्रोटोकॉल' (Greenhouse Gas Protocol) क्या है? [I.A.S. (Pre) 2016]

Correct Answer: (a) यह सरकार एवं व्यवसाय को नेतृत्व देने वाले व्यक्तियों के लिए ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन को समझने, परिमाण निर्धारित करने एवं प्रबंधन हेतु एक अंतरराष्ट्रीय लेखाकरण साधन है।
Solution:ग्रीन हाउस गैस प्रोटोकॉल का विकास 'वर्ल्ड रिसोर्स इंस्टीट्यूट' (WRI) तथा 'वर्ल्ड बिजनेस काउंसिल ऑन सस्टेनेबल डेवलपमेंट' (WBCSD) द्वारा किया गया है। यह सरकार एवं व्यवसाय को नेतृत्व प्रदान करने वाले व्यक्तियों के लिए ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन को समझने, परिमाण निर्धारित करने एवं प्रबंधन हेतु एक अंतरराष्ट्रीय लेखाकरण साधन है।