संसदीय अधिनियम=भाग= 2

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11. सूचना का अधिकार अधिनियम का उद्देश्य है- [R.A.S./R.T.S. (Pre) 2007]

Correct Answer: (a) सार्वजनिक अधिकारियों से सूचना प्राप्त करने की पहुंच
Note:

सूचना के अधिकार अधिनियम की धारा 2 के अनुसार, सूचना के अधिकार का अभिप्राय किसी लोक पदाधिकारी द्वारा नियंत्रित सूचनाओं तक पहुंच से है। सूचना के अधिकार के तहत अभिलेखों, दस्तावेजों एवं कार्यों का निरीक्षण किया जा सकता है एवं सामग्री का नमूना लिया जा सकता है।

 

12. किस उच्च न्यायालय ने अपने महत्वपूर्ण फैसले में कहा है कि आर. टी.आई. आवेदक को सूचना के अधिकार के अंतर्गत सूचना मांगने का कारण अवश्य बताना चाहिए? [U.P.P.S.C. (R.I.) 2014]

Correct Answer: (d) मद्रास उच्च न्यायालय
Note:

मद्रास उच्च न्यायालय की दो सदस्यीय खंडपीठ ने सितंबर, 2014 में अपने एक महत्वपूर्ण फैसले में कहा था कि आर.टी.आई. आवेदक को सूचना के अधिकार के अंतर्गत सूचना मांगने का कारण अवश्य बताना चाहिए। हालांकि इस पीठ ने शीघ्र ही स्वतः संज्ञान लेते हुए अपने निर्णय के इस भाग को हटा दिया था। उक्त खंडपीठ में न्यायमूर्ति एन. पॉल बसंत कुमार और न्यायमूर्ति के. रविचंद्रबाबू दो न्यायाधीश थे। उल्लेखनीय है कि आर.टी.आई. एक्ट, 2005 में इस तरह की किसी बाध्यता का उल्लेख नहीं है। इस अधिनियम की धारा 6 (2) के अनुसार, सूचना का अनुरोध करने वाले आवेदक से सूचना का अनुरोध करने के लिए किसी कारण को या किसी अन्य व्यक्तिगत ब्यौरे को, सिवाय उसके जो उससे संपर्क करने के लिए आवश्यक हों, देने की अपेक्षा नहीं की जाएगी।

 

13. निम्नलिखित में से नागरिक अधिकार पत्र के मूल तत्व में कौन सम्मिलित नहीं है? [R.A.S./R.T.S. (Pre) 2021]

Correct Answer: (d) अभिकरण के कार्य के निरीक्षण का प्रावधान
Note:

विभाग अथवा अभिकरण द्वारा प्रदान की जा रही सेवाओं का विवरण, सेवाओं का लाभ उठाने के लिए विभिन्न विधियों को प्रचारित करना तथा किसी लोक अभिलेख की अपेक्षा करना नागरिक अधिकार चना (Citizen Charter) के मूल तत्वों में शामिल हैं, किंतु अभिकरण के कार्य के निरीक्षण का प्रावधान इसमें शामिल नहीं है। भारत में सार्वजनिक सेवाओं के संदर्भ में नागरिक अधिकार पत्र की संकल्पना को सर्वप्रथम मई, 1997 में प्रधानमंत्री की अध्यक्षता में संपन्न राज्यों/ संघीय क्षेत्रों के मुख्यमंत्रियों के सम्मेलन में अपनाया गया था।

 

14. राष्ट्रीय स्तर पर, अनुसूचित जनजाति और अन्य पारंपरिक वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम, 2006 के प्रभावी कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए कौन-सा मंत्रालय केंद्रक अभिकरण (नोडल एजेंसी) है? [I.A.S. (Pre) 2021]

Correct Answer: (d) जनजातीय कार्य मंत्रालय
Note:

केंद्रीय जनजातीय कार्य मंत्रालय (Union Ministry of Tribal Affairs) राष्ट्रीय स्तर पर, अनुसूचित जनजाति और अन्य पारंपरिक वन निवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम, 2006 के प्रभावी कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए केंद्रीय अभिकरण (Nodal agency) है।

 

15. अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पारंपरिक वनवासी (वन अधिकारों की मान्यता) अधिनियम, 2006 के अधीन, व्यक्तिगत या सामुदायिक वन अधिकारों अथवा दोनों की प्रकृति एवं विस्तार के निर्धारण की प्रक्रिया को प्रारंभ करने के लिए कौन प्राधिकारी होगा ? [I.A.S. (Pre) 2013]

Correct Answer: (d) ग्राम सभा
Note:

अनुसूचित जनजाति एवं अन्य पारंपरिक वनवासी अधिनियम, 2006 की धारा, 6(1) के अनुसार, ग्राम सभा व्यक्तिगत या सामुदायिक वन अधिकारों अथवा दोनों की प्रकृति एवं विस्तार के निर्धारण की प्रक्रिया को प्रारंभ करने हेतु प्राधिकारी है। इसके बाद तहसील और जिला स्तर पर इनकी जांच की जाती है।

 

16. राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण अधिनियम, 2010 भारतीय संविधान के निम्नलिखित में से कौन-सा/से प्रावधान के आनुरूप्य अधिनियमित हुआ था/हुए थे? [I.A.S. (Pre) 2012]

1. स्वस्थ पर्यावरण के अधिकार के आनुरूप्य, जो अनुच्छेद 21 के अंतर्गत जीवन के अधिकार का अंग माना जाता है।

2. अनुच्छेद 275 (1) के अंतर्गत अनुसूचित जनजातियों के कल्याण हेतु अनुसूचित क्षेत्रों में प्रशासन का स्तर बढ़ाने के लिए प्रावधानित अनुदान के आनुरूप्य

3. अनुच्छेद 243 (A) के अंतर्गत उल्लिखित ग्राम सभा की शक्तियों और कार्यों के आनुरूप्य

निम्नलिखित कूटों के आधार पर सही उत्तर चुनिए :

 

Correct Answer: (a) केवल 1
Note:

राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण अधिनियम, 2010 भारतीय संविधान के अंतर्गत दिए गए नागरिकों को स्वच्छ पर्यावरण में रहने के अधिकार, जो जीवन के अधिकार (अनुच्छेद 21) का भाग है, के अनुरूप है। इस अधिनियम के द्वारा देश में एक राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण (National Green Tribunal) का गठन अक्टूबर, 2010 में किया गया है।

 

17. भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय हरित अधिकरण (एन.जी.टी.) की स्थापना हुई थी- [U.P.R.O./A.R.O. (Pre) (Re-Exam) 2016]

Correct Answer: (d) 2010 में
Note:

राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण अधिनियम, 2010 भारतीय संविधान के अंतर्गत दिए गए नागरिकों को स्वच्छ पर्यावरण में रहने के अधिकार, जो जीवन के अधिकार (अनुच्छेद 21) का भाग है, के अनुरूप है। इस अधिनियम के द्वारा देश में एक राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण (National Green Tribunal) का गठन अक्टूबर, 2010 में किया गया है।

 

18. राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण के किसी भी निर्णय से व्यथित कोई व्यक्ति सर्वोच्च न्यायालय में अपील कितने दिन के भीतर दायर कर सकता है? [M.P.P.C.S. (Pre) 2020]

Correct Answer: (d) नब्बे दिन
Note:

राष्ट्रीय हरित न्यायाधिकरण के किसी भी निर्णय से व्यथित कोई व्यक्ति सर्वोच्च न्यायालय में नब्बे (90) दिन के भीतर अपील दायर कर सकता है।

 

19. भूमि अधिग्रहण अधिनियम, 1894 के संदर्भ में निम्नलिखित में से कौन-सा कथन सत्य नहीं है? [M.P.P.C.S. (Pre) 2016]

Correct Answer: (b) इसका उद्देश्य भारत में भूमि सुधार प्रक्रिया को बढ़ावा देना था
Note:

भूमि अधिग्रहण अधिनियम, 1894 का उद्देश्य भारत में भूमि सुधार प्रक्रिया को बढ़ावा देना नहीं था। बल्कि इसका उद्देश्य सार्वजनिक संस्थानों, संगठनों और कंपनियों तथा तत्संबंधी उद्देश्यों हेतु भूमि अधिग्रहण के लिए कानून बनाना था। यह अधिनियम 1 मार्च, 1894 को अस्तित्व में आया था। इस अधिनियम को भारत की संसद द्वारा बनाए गए 2013 के अधिनियम (भूमि-अर्जन, पुनर्वासन और पुनर्व्यवस्थापन में उचित प्रतिकर और पारदर्शिता का अधिकार अधिनियम, 2013) से प्रतिस्थापित किया गया है।

 

20. निम्न में से कौन-से श्रम संबंधी अधिनियमों को 'मजदूरी संहिता, 2019' में सम्मिलित किया गया है? [U.P. P.C.S. (Pre) 2021]

I. न्यूनतम मजदूरी अधिनियम

II. बोनस भुगतान अधिनियम

III. संविदा श्रम अधिनियम

IV. समान पारिश्रमिक अधिनियम

नीचे दिए गए कूट से सही उत्तर का चयन कीजिए।

 

Correct Answer: (c) केवल I, II और IV
Note:

मजदूरी संहिता (The Code on Wages), 2019 में चार श्रम अधिनियमों

यथा न्यूनतम मजदूरी अधिनियम (The Minimum Wages Act),

1948; मजदूरी संदाय अधिनियम (The Payment of Wages Act),

1936; बोनस संदाय अधिनियम (The Payment of Bonus Act),

1965 और समान पारिश्रमिक अधिनियम (The Equal Remuneration

Act), 1976 को शामिल किया गया है।