1. इसके तंतुओं को ऊन और कपास के तंतुओं के साथ, उनके गुणधर्मों को प्रबलित करने हेतु, सम्मिश्रित किया जा सकता है।
2. इससे बने पात्रों को किसी भी मादक पेय को रखने के लिए उपयोग किया जा सकता है।
3. इससे बनी बोतलों का पुनर्चक्रण (रीसाइक्लिंग) कर उनसे अन्य उत्पाद बनाए जा सकते हैं।
4. इससे बनी वस्तुओं का भस्मीकरण द्वारा, बिना ग्रीन हाउस गैस उत्सर्जन किए, आसानी से निपटान किया जा सकता है।
उपर्युक्त कथनों में कौन-से सही है?
Correct Answer: (a) 1 और 3
Solution:पॉलीएबिलीन टेरेफ्थलेट (Polyethylene terephthalate: PET) बहुलकों के पॉलिएस्टर परिवार का एक सदस्य है, जो मुख्यतः एथिलीन ग्लाइकोल एवं टेरेप्थैलिक अम्ल के बहुलकीकरण (Polymerization) से प्राप्त होता है। कठोरता, रासायनिक प्रतिरोध एवं भार में हल्का होने के कारण 'PET फाइबर' शीट्स, फिल्म्स (Films) तथा पेय पदार्थों के कंटेनर जैसे विभिन्न अनुप्रयोगों में प्रयुक्त होने वाला एक लबीला पदार्थ है। उल्लेखनीय है कि PET 100% पुनर्चक्रण-योग्य (Recyclable) पदार्थ है। व्यावसायिक रूप से PET का पुनर्चक्रण घावन (Washing), पुनर्गलन (Re-melting) या रासायनिक रूप से इसे इसके संघटक पदार्थों में विघटित करके किया जाता है। PET फाइबर को कभी-कभी प्राकृतिक फाइबर जैसे ऊन एवं कपास के साथ सम्मिश्रित किया जाता है, जिससे उनके गुणधर्मो को प्रबलित किया जा सके।PET से बने पात्रों का किसी भी मादक पेय को रखने के लिए उपयोग नहीं किया जा सकता, क्योंकि ऐसी आशंका है कि ये प्लास्टिक पदार्थ विलेय होता है और संगृहीत एल्कोहल में स्थानांतरित हो जाता है, जो उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य को नुकसान पहुंचा सकता है। इसी आशंका के दृष्टिगत महाराष्ट्र सरकार द्वारा PET बोतलों में मादक पेय की बिक्री को प्रतिबंधित कर दिया गया है। इसी प्रकार PET से बनी वस्तुओं के भस्मीकरण से बड़ी मात्रा में ग्रीन हाउस गैसों का उत्सर्जन होता है। अतः विकल्प (a) सही उत्तर है।